"तानपुरा" के अवतरणों में अंतर
नेविगेशन पर जाएँ
खोज पर जाएँ
(नया पृष्ठ: {{menu}}<br /> ==तानपुरा / Tanpura== साधारण तया इस वाद्य को तानपुरा के नाम से पुका...) |
|||
पंक्ति २: | पंक्ति २: | ||
==तानपुरा / Tanpura== | ==तानपुरा / Tanpura== | ||
− | + | साधारणतया इस वाद्य को तानपुरा के नाम से पुकारते हैं । उत्तर-भारतीय [[संगीत]] में इसने महत्वपूर्ण स्थान ग्रहण कर लिया है । कारण यह है कि इसका स्वर बहुत ही मधुर तथा अनुकूल वातावरण की सृष्टि में सहायक होता है । तानपुरे की झन्कार सुनते ही गायक की ह्रदय-तन्त्री भी झंकृत हो उठती है, अत: इसका उपयोग गायन अथवा वादन के साथ स्वर देने में होता है । अपरोक्ष रूप में तानपुरे से सातो स्वरों की उत्पत्ति होती है, जिन्हें हम सहायक नाद कहते हैं । तानपुरा अथवा तानपुरे में 4 तार होते हैं । | |
[[category:संगीत]] | [[category:संगीत]] | ||
[[category: कोश]] | [[category: कोश]] | ||
+ | __INDEX__ |
०७:५६, १२ नवम्बर २००९ का अवतरण
तानपुरा / Tanpura
साधारणतया इस वाद्य को तानपुरा के नाम से पुकारते हैं । उत्तर-भारतीय संगीत में इसने महत्वपूर्ण स्थान ग्रहण कर लिया है । कारण यह है कि इसका स्वर बहुत ही मधुर तथा अनुकूल वातावरण की सृष्टि में सहायक होता है । तानपुरे की झन्कार सुनते ही गायक की ह्रदय-तन्त्री भी झंकृत हो उठती है, अत: इसका उपयोग गायन अथवा वादन के साथ स्वर देने में होता है । अपरोक्ष रूप में तानपुरे से सातो स्वरों की उत्पत्ति होती है, जिन्हें हम सहायक नाद कहते हैं । तानपुरा अथवा तानपुरे में 4 तार होते हैं ।