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− | [[ब्रह्मा]]का जो एक दिन है, उसको एक हजार चतुर्युगीतक की अवधि वाला और रात्रि को भी एक हजार चतुर्युगीतक की अवधि वाली जो पुरूष तत्त्व से जानते हैं, वे योगीजन काल के तत्व को जानने वाले हैं ।।17।। | + | [[ब्रह्मा]] का जो एक दिन है, उसको एक हजार चतुर्युगीतक की अवधि वाला और रात्रि को भी एक हजार चतुर्युगीतक की अवधि वाली जो पुरूष तत्त्व से जानते हैं, वे योगीजन काल के तत्व को जानने वाले हैं ।।17।। |
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०८:१५, ११ अक्टूबर २००९ का अवतरण
गीता अध्याय-8 श्लोक-17 / Gita Chapter-8 Verse-17
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अध्याय आठ श्लोक संख्या Verses- Chapter-8 |
1 | 2 | 3 | 4 | 5 | 6 | 7 | 8 | 9 | 10 | 11 | 12, 13 | 14 | 15 | 16 | 17 | 18 | 19 | 20 | 21 | 22 | 23 | 24 | 25 | 26 | 27 | 28 |
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