स्वायंभुव
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स्वयंभुव मनु
धर्मग्रन्थों के बाद धर्माचरण की शिक्षा देने के लिये आदिपुरुष स्वयंभुव मनु ने स्मृति की रचना की जो मनुस्मृति के नाम से विख्यात है । स्वयंभुव मनु का विवाह शतरूपा से हुआ और हम सब उन्हीं की सन्तान हैं । मनु स्मृति ने सनातन धर्म को आचार संहिता से जोड़ा ।